सोमवार, 16 जनवरी 2017

माँ लक्ष्मी की विशेष पूजा से मिलता है सुख-वैभव




साथ ही मन और व्यवहार की पवित्रता दूसरों को भी सुख देती है। इसके लिए पावनता और वैभव की देवी माता लक्ष्मी की साधना शुक्रवार को बहुत ही शुभ मानी गई है।
शुक्रवार के दिन माता दुर्गा की तीन शक्तियों में एक महालक्ष्मी की साधना तमाम वैभव और यश देने वाली मानी गई है। जानिए, देवी लक्ष्मी स्मरण के लिए दो मंत्र और पूजा की आसान विधि -
- शुक्रवार के दिन शाम को देवी लक्ष्मी की उपासना के पहले स्नान कर यथासंभव लाल वस्त्र पहन लक्ष्मी मंदिर या घर में लाल आसन पर बैठकर माता लक्ष्मी का ध्यान अक्षत और लाल फूल हाथ में लेकर नीचे लिखे मंत्र से करें -
महालक्ष्मी च विद्महे,
विष्णुपत्नी च धीमहि,
तन्नो लक्ष्मी: प्रचोदयात्।
 माता के चरणों में फूल-अक्षत करने के साथ लाल चंदन, अक्षत, लाल वस्त्र, गुलाव के फूलों की माला चढ़ाकर कमलगट्टे की माला या तुलसी की माला से नीचे लिखे विशेष लक्ष्मी मंत्र का जप करें -
             
                      ॐ श्रीं श्रीं महालक्ष्म्यै श्रीं श्रीं ॐ नम:।

पूजा व मंत्र जप के बाद माता को दूध से बनी मिठाई का भोग लगाएं।
घी के पांच बत्तियों वाले दीप से आरती कर देवी से सुख-वैभव की कामना करें।  

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