रविवार, 31 जुलाई 2016

सावन के सोमवार को किस विधि से शिव जी का पूजन करने से पूरी होगी आप की मनोकामना




भगवान शिव जी को सावन मास अतिप्रिय है। इस दौरान बरसात का मौसम होता है. और वातावरण में शीतलता होती है। शिव जी जीवन में सुख ,सफलता ,शीतलता और सम्रद्धि लाने वाले देवता है।
वे अपने भक्त पर शीघ्र कृपा करते है अगर उनके प्रति सच्ची श्रद्धा हो तो वे अपने भक्त के हर कष्ट का निवारण कर सकते है।

      पूजन की विधि -


यूं तो हर दिन शिव का दिन है परन्तु सावन के सोमवार को उनकी पूजा से विशेष शुभ फल की प्राप्ति होती है। सम्पूर्ण सावन मास शिव जी की उपासना के लिए सबसे उत्तम समय माना गया है परन्तु सोमवार इनमे विशेष महत्वपूर्ण है। जानिए सोमवार को कैसे करें शिव जी का पूजन -

सावन के सोमवार को शिव जी का व्रत करने का विधान है। अगर किसी कारण से व्रत न कर सके तो पूजन मात्र से शिव जी प्रसन्न हो जाते है।

इस दिन गणेश जी ,शिव जी ,पार्वती जी और नंदी सहित सम्पूर्ण शिव परिवार की पूजा करनी चाहिए। पूजन में भगवान को जल ,चीनी ,दूध दही ,घी शहद ,पन्चामृत ,भांग ,मौली ,जनेऊ ,चंदन रोली ,चावल ,पुष्प ,दुर्वो ,विल्वपत्र ,आंक ,धतूरा चढ़ाना चाहिए।

प्रसाद पंचमेवा ,पान ,सुपारी ,लौंग ,इलायची ,कमलगट्टा आदि सामग्री से भगवान की पूजा करें। दक्षिणा चढ़ाए और दूप ,दीप करें।

कपूर और धुप -दीप से आरती उतारे। पूजा करने के बाद एक समय ही भोजन करें। सिर्फ सात्विक भोजन करें। भोजन में तामसी पदार्थ प्याज ,लहसुन ,मास -मदिरा आदि का उपयोग करने से व्रत व पूजन का पूण्य समाप्त हो जाता है।

भगवान शिव का प्रिय मंत्र         ॐ नमः शिवाय        का जाप करें। इसकी नित्य एक माला का जाप करने से जीवन में सुख व शांति का आगमन होता है।

शिव जी के नाम कैसे दिलायेंगे आप को यश , कीर्ति और मान -सम्मान व ऐश्वर्य जानिए यह चमत्कारी उपाय



भगवान शंकर के कई नाम है और शिवशंकर ,गंगाधर व रामेश्वर है नागेश्वर भी कोई उन्हें शशिशिखर बुलाता है तो कोई डमरूधर कोई ओंकार कहता है तो कोई त्रयंबकेश्वर

एक शिव को न जाने कितने ही रूप व नाम है। और हर नाम की अपनी महिमा हे इनके हर नाम में छिपी है एक विशेष शक्ति यह शक्ति तमाम समस्याओ को नष्ट कर जीवन में सुख का संचार करने वाली है।

यहां जाने की शिव के कौन से नाम से निकलेगा आप की मुश्किलो का हल -


विश्वम्भर नाम से मिलेगा रोजगार नोकरी के लिए भगवान शिव के विश्वम्भर नाम का प्रयोग करें खाते -पीते उठते -बैठते शिव का विश्वम्भर नाम जपते रहे आपकी रोजगार की समस्या जल्दी ही दूर हो जाएगी।

महेश नाम से चलेगा करोबार  करोबार बढ़ाने के लिए भगवान शिव के महेश नाम का प्रयोग करें। इस नाम का जाप करते हुए काम पर निकले करोबार की हर समस्या हल होगी और सफलता मिलेंगी।

आशुतोष से सुधरेगा जीवन साथी का व्यवहार जीवन साथी से अनबन को दूर करने के लिए भगवान शिव के आशुतोष नाम का प्रयोग करें -
सुबह उठने के बाद और रात में सोने के पहले इस नाम का जाप करें आपके जीवन साथी का ब्यवहार बेहतर होने लगेगा।

महादेव नाम से पाए अच्छी सेहत सुबह नहा -धोकर मंदिर में शिव जी को जल चढ़ाएं और महादेव नाम का कम से कम १५ मिनट जप करें इससे आप की सेहत में अद्भुत सुधार होगा।

रूद्र से सुधरेगा संतान का बरताव दोपहर के समय    रुद्र    नाम का १५ मिनट जाप करें इसके बाद अपनी संतान का ११ बार नाम से उसके व्यवहार में सुधार होगा।

नटराज देगे मान -सम्मान -  यश और कीर्ति पाने के लिए भगवान शिव के    नटराज    नाम का प्रयोग करें प्रदोष काल में शिव के   नटराज    नाम का १०८ बार जाप करें इससे आपका मान -सम्मान बढेगा नाम और यश भी मिलेगा।

बाबा      भगाएंगे बड़ी विपति   भगवान शिव के    बाबा     नाम में बड़ी से बड़ी विपत्ति को टालने की शक्ति है। जितना ज्यादा शिव के इस नाम का जप करेगे उतना ही ज्यादा लाभ होगा।

शिव खोलेगे मोक्ष का द्वार -


मोक्ष प्राप्ति के लिए भगवान के शिव नाम का ही जाप करें
शिव जी का ध्यान करते हुए शिव नाम का जाप करने का फल जरुर मिलता है अगर किसी सिद्ध मनुष्य  से शिव नाम का मंत्र मिले तो यह सबसे उत्तम होगा।



ऐसा २१ दिन क्या करने से आने वाली कई पीढ़ियां सम्पन्न बनी रहती है। जानिए यह अद्भुत उपाय


ऐश्वर्य की देवी महालक्ष्मी  की पूजा न केवल धनवान व समृद्ध बनाती है। बल्कि यश प्रतिष्ठा के साथ शांति ,पवित्रता ,शक्ति व बुद्धि भी देने वाली मानी गई है। धन प्राप्ति के लिए किये जाने वाले तंत्र प्रयोगों में कई वस्तुओ का प्रयोग किया जाता है।
लक्ष्मी जी के धनदायक मन्त्रो के जप कमलगट्टे की माला से करते है।
शुक्रवार को देवी लक्ष्मी की सुबह और शाम दोनों वक्त स्नान के बाद यथा संभव लाल वस्त्र पहन ,लाल पूजा सामग्रियो से पूजा करे।
देवी की चांदी या किसी भी धातु की बनी प्रतिमा को दूध दही ,घी शक्कर और शहद से बने पन्चामृत व पवित्र जल से स्नान कराने के बाद लाल चंदन ,कुमकुम, लाल अक्षत ,कमल ,गुलाब या गुड़हल का फूल चढ़ाकर घर में बनी दूध की खीर का भोग लगाए पूजा के बाद नीचे लिखे मंत्र का जप लाल आसन पर कमलगट्टे की माला से कम से कम १०८ बार जप करें -

                                               मंत्र

ॐ ही क्लीं श्रीं


पूजा व मंत्र जप के बाद माता लक्ष्मी की आरती करे प्रसाद ग्रहण करें व माता को चढ़ाया थोड़ा सा कुमकुम कागज में बांध तिजोरी में रखे।

    उपाय -

यदि रोज १०८ कमल के बीजो से आहुति दें और ऐसा २१ दिन करे  तो आने वाली कई पीढ़ियां सम्पन्न बनी रहती है।

यदि दुकान में कमल गट्टे की माला विछाकर उसके ऊपर लक्ष्मी जी का चित्र स्थापित किया जाए व्यापार निरंतर उन्नति की ओर अग्रसर होता है।

कमल गट्टे की माला लक्ष्मी के चित्र पर पहना कर किसी नदी या तालाब में विसर्जित करें तो उसके घर में निरंतर लक्ष्मी का आगमन बना रहता है।

जो व्यक्ति प्रत्येक बुधवार को १०८ कमलगट्टे के बीज लेकर घी के साथ एक -एक करके अग्नि में १०८ आहुतियां देता है। उसके घर में दरिद्रता हमेशा के लिए चली जाती है।

जो व्यक्ति पूजा -पाठ के दौरान कमलगट्टे की माला अपने गले में धारण करता है। उस पर लक्ष्मी की कृपा सदा बनी रहती है।

शुक्रवार के दिन देवी उपासना के विशेष दिन कमलगट्टे की माला से अलग -अलग रुपो में लक्ष्मी मंत्र जप देवी लक्ष्मी की कृपा से धन ,ऎश्वर्य व यश पाने  का अचूक उपाय माना गया है।

जानिए मनोकामना पूर्ति के गुप्त व सरल उपाय




हर मनुष्य की कुछ मनोकामनएं होती है। कुछ लोग इन मनोकामनाओं को बता देते है। तो कुछ नही बताते है। चाहते सभी है। की किसी भी तरह उनकी मनोकामना पूरी हो जाए। लेकिन ऐसा हो नही पाता है। यदि आप चाहते हे कि आपकी सोची हर मुराद पूरी हो जाए तो नीचे लिखे प्रयोग करें -


तुलसी के पौधे को प्रतिदिन जल चढ़ाए तथा गाय के घी का दीपक लगाएं 


रविवार को पुष्प नक्षत्र में श्वेत आक की जड़ लाकर उससे श्री गणेश की प्रतिमा बनाए फिर उन्हें खीर का भोग लगाए। लाल कनेर के फूल तथा चंदन आदि से उनकी पूजा करें। उसके बाद गणेश जी के बीज मंत्र         ॐ गं नमः     का जप १०८ बार जप करें।

सुबह गौरी -शंकर रुद्राक्ष शिव जी के मंदिर में चढ़ाए -



सुबह बेल पत्र पर मनोकामना लिखकर बहते जल में प्रवाहित करने से सभी मनोकामना की पूर्ति होती है। मनोकामना किसी भी भाषा में लिख सकते है।

नए सूती लाल कपड़े में जटावाला नारियल वांधकर बहते जल में प्रवाहित करने से भी मनोकामनाएं पूरी होती है।


इस प्रयोग के करने से आपकी सभी मनोकामनाएं शीघ्र पूरी हो जाएंगी।



शनिवार, 30 जुलाई 2016

जानिए कैसे अमावस्या का दान बना देगा आपको धनवान




हिंदू पञ्चांग  के अनुसार अमावस्या माह की अंतिम तारीख और कृष्ण पक्ष की अंतिम तिथि को होती है। इस दिन आकाश में चन्द्रमा दिखाई नही देता है ,रात्रि में सर्वत्र गहरा अंधकार छाया रहता है। तंत्र शास्त्र में अमावस्या का अत्यंत महत्व है एवं इस दिन किए गए उपाय बहुत ही प्रभावशाली होते है और इनका फल भी अति शीघ्र मिलता है। पितृ दोष हो या किसी भी ग्रह की अशुभता को दूर करना हो ,अमावस्या के दिन सभी के लिए उपाय बताए गए है। इस दिन तंत्र विद्या और अनेक सिद्धियों प्राप्त की जा सकती है। जीवन के कष्टो से मुक्ति पाने के लिए अमावस्या के दिन लाभकारी अचूक उपयों के बारे में जाने -


अमावस्या के दिन पित्तरो को दान करने से सूर्य और चन्दमा के दोषो से मुक्ति मिलती है। भोजन से पहले किसी भी पशु को भोजन का अंश जरुर खिलाएं। इस उपाय से नोकरी में भी लाभ मिलता है।

घर की सम्रद्धि को बनाए रखने के लिए सबसे ज्यादा जरुरी है की घर में रखें अतिरिक्त सामान कपड़ो और अनुपयोगी वस्तुओ को बाहर निकाला जाए। घर में साफ -सफाई का पूरा ध्यान रखा जाए और चारों कोनों में गंगाजल छिड़क कर सारे नकारात्मक प्रभावो को नष्ट किया जाए।

इस दिन पीपल के पेड़ की पूजा करने से विशेष लाभ प्राप्त होते है।

किसी दुर्घटना ,बीमारी एवं पीड़ा के निवारण हेतु अमावस्या के दिन मछुआरी से दो जीवित मछलियां को लेकर उन्हें किसी नजदीकी नदी ,तालाब एवं सरोवर में छोड़ दे। राहु -केतु के प्रभाव से बचने और धन लाभ के लिए भी यह उपाय सर्वोत्तम है।

अमावस्या के दिन ब्राह्मण को भोजन में खीर अवश्य खिलाएं। ऐसा करने से महापुण्य की प्राप्ति होती है।

नजर दोष से बचना चाहते है तो घर के दरवाजे पर काले घोड़े की नाल मुंह ऊपर की ओर खुला रखकर स्थापित करें।

पित्तरों के लिए शाम के समय पीपल के पेड़ के नीचे एक कटोरी खीर अवश्य रखें।




शुक्रवार, 29 जुलाई 2016

किस तरह की पूजा करने से हनुमान जी करेंगे आप की हर मुराद पूरी



हनुमानजी शीघ्र प्रसन्न होने वाले देव है। जो भक्त सेवा भाव से हनुमान जी  की सेवा करता है। वो हनुमानजी की दया रूपी छाव में निश्चित हो जाता है। किसी प्रकार का भय  उस जातक को नहीं रहता। हनुमानजी जी सभी सिद्धियों के दाता है उन्हें प्रसन्न करके कोई भी सिद्धि  व शक्ति को प्राप्त किया जा सकता है। 

              हनुमानजी की साधना से पूर्व कुछ नियमो का ध्यान अवश्य रखे - 

  १ - पूजन के दौरान ब्रह्मचर्य का पालन करें। 


  २  - निश्छल सेवा भावना रखे तथा क्रोध व अहं से पूर्णतः दूर रहें। 

   ३ - हनुमानजी को घी के लड्डू प्रसाद रूप में अर्पित करें। 

   ४ - तामसिक भोजन का परित्याग करें ,अनुष्ठान के दौरान यदि संभव हो नमक का प्रयोग भी न करें। या मंगल वार के दिन व्रत करे और नमक का का सेवन न करें। 
 हनुमान साधना -
१  - हनुमानजी को राम भक्त अत्यधिक प्रिय है। तुलसीदास जी ने राम का स्मरण किया उन्हें हनुमान जी सहज ही प्राप्त हो गए। अतः रामायण का पाठ प्रतिदिन करना चाहिए। और पूजन का समय रोज एक ही होना चाहिए इसको बदले नहीं। हनुमानजी को राम कथा इतनी पसन्द है की वो राम कथा के कारण ही राम के साथ साकेत नहीं गए।

 २  - हनुमान चालीसा में तुलसी दास जी लिखते है की -राम रसायन तुम्हरे पासा ,जहाँ जिस राम रासायन के बारे में बताया गया है वो राम नाम का जप ही है इसे अपने गले का हार बना लिया ,आप हनुमानजी के चाहते बन जायेगे। 
 ३  - हनुमान चालीसा का प्रभाव अत्यधिक चमत्कारी है ,इसका नित्य 11 बार पाठ करिये हनुमान जी खुद प्रसन्न होकर आप को वरदान देने आयेगे। तुलसीदास जी को वाल्मिकी जी के पुनःजन्म के रुप में जाना जाता है। इस विषय में कथा प्रचलित है की संसार की प्रथम रामायण हनुमान जी ने लिखि थी लेकिन वाल्मिकी की प्रसन्नता हेतु उसे समुद्र में प्रवाहित कर दिया था तब वाल्मीकी ने हनुमान जी को वचन दिया था की मेरा अगला जन्म आपकी गाथा लिखने के लिए होगा। 

४ - हनुमान साधना के कुछ तांत्रिक प्रयोग व मंत्र है जिनको साधकर हनुमान जी को प्रसन्न किया जा सकता है। यहां मै कुछ बीज मन्त्रो के बारे में वर्णन कर   रहा हु जिन में से किसी भी मंत्र का जाप हनुमान जी की कृपा प्राप्त करने के लिए किया जा सकता है। शुक्ल पक्ष के प्रथम मंगलवार से लाल आसान पर हनुमान जी की मूर्ति के सामने बैठ कर घी का दीपक जला कर लाल चंदन की माला अथवा मूंगे की माला पर नित्य ११ माला ४० दिन करने से सिद्धि प्राप्त होती है।

                                     मंत्र -

१ -  ॐ हूँ हूँ हनुमतये फट।
२ -  ॐ पवन नन्दनाय स्वाहा।
३ -  ॐ हं हनुमते रुद्रात्मकाय हूं फट।

५ अष्टदशाक्षर मंत्र अत्यधिक चमत्कारी एवं हनुमान जी की कृपा देने वाला है। मंत्र महोदधी में वर्णित है की जिस घर में इस मंत्र का जाप होता है वहां किसी प्रकार की हानि नही होती। धन -सम्पन्नता व खुशियां सर्वत्र फैली हुई होती है।
 नमो भगवते आंजनेयाय महाबलाये स्वाहा        इस मंत्र के देवता हनुमान है। ऋषि ईश्वर है हूं बीज है स्वाहा शक्ति है तथा अनुष्टप छंद है। इस मन्त्र का १००० बार जप करना चाहिए तथा दशांस हवन करना चहिये।
यह मंत्र जपने से हनुमान जी प्रसन्न होते है।



                                                          

बुधवार, 27 जुलाई 2016

पुराणो में वर्णित है की यहाँ पर कैसे होती है सभी मुराद पूरी




भारत धर्म और कर्म की भूमि कहीं जाती है। यहाँ अनेक योद्धओं और विद्वानों ने जन्म लिया है। भारत के धार्मिक इतिहास और देवी -देवता के विदेशी श्रद्धालु भी मुरीद है। इस धरती से अनेक रोचक और धार्मिक घटनाएं जुड़ी है जो लोगो को आकर्षित करती है। भारत की ऐतिहासिक और धार्मिक महत्व का बखान करते है जानते है इनके बारे में -
         ज्वालादेवी का मन्दिर -
  अखण्ड ज्योति के लिए प्रसिद्ध माँ ज्वाला देवी का मन्दिर भारत का रहस्य मयी मंदिर है जहाँ सदा बिना तेली -बत्ती के ज्योति जलती रहती है। हिमाचल प्रदेश में स्थित इस मन्दिर में पृथ्वी के गर्भ से निकल रही नै ज्वालाओ की पूजा होती है। बादशाह अकबर ने भी माँ के चमत्कारी स्वरूप के आगे हार मान ली थी। अकबर ने मन्दिर के प्रति अविश्वास की भावना से प्रज्वलित ज्योति को बुझाने के लिए नहर बनवाई ली. लेकिन अकबर के कोई भी प्रयास सफल नहीं हुए ,शीघ्र ही राजा को अपनी गलती का अहसास हो गया और उसने अपनी गलती को सुधारने के लिए माँ को स्वर्ण का छत्र चढ़ाने का प्रयास किया जिसे माँ ने स्वीकार नहीं किया और उसे धातु में परिवर्त्रित कर दिया। और यह विश्वास है की माँ के दरबार आने वाले हर भक्त की मनोकामना अवश्य पूर्ण होती है।
कोणार्क का सूर्य मन्दिर -
    भगवान सूर्य को समर्पित उड़ीसा के कोणार्क सूर्य मन्दिर की अपनी एक अलग एवं अनोखी मान्यता है। कोणार्क का सूर्य मन्दिर सर्वाधिक प्रसिद्ध है। इस मंदिर को सूर्य देव के रथ का स्वरूप दिया गया है। मंदिर के आधार पर दोनों ओर एक जैसे पत्थर के २४ पहिये बनाये गए है। पहियो को खीचने के लिए ७ धोड़े बनाये गाए है। कोणार्क की सुंदरता का बखान करते हुए ''रविंद्रनाथ टैगोर ''ने लिखा था -कोणार्क ,जहाँ पत्थरो की भाषा मनुस्यो से श्रेष्ठ है। भारत के पास ये विश्व की धरोहर है।





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मंगलवार, 26 जुलाई 2016

शिव जी की अतिप्रिय यह वस्तुएं ला सकती हैं आपके जीवन में सुख ऐश्वर्य और आर्थिक सम्पन्नता




भगवान शिव की आराधना हेतु सावन का महीना सबसे श्रेष्ठ माना गया है। इस पवित्र महीने में भगवान शिव की पूजा -अर्चना करने से सभी मनोकामनाओ की पूर्ति होती है। कुछ वस्तुएं भगवान शिव को अतिप्रिय है। यदि कोई व्यक्ति सावन के महीने में इन चीजें को अलग -अलग हिस्सो में रखें तो उसे भगवान शिव की विशेष कृपा प्राप्त होती है। आइए जानते है भगवान शंकर को प्रसन्न करने वाली कौन -सी है वे चीजें -

  रुद्राक्ष -

 भगवान शिव के अश्रुओं से उत्पन्न हुए रुद्राक्ष को घर के मुखिया के कमरे में रखने से धन में व्रद्धि होती है और घर -परिवार पर भगवान शिव की कृपा बनी रहती है। 

भस्म -

 सावन के महीने में घर के पूजा स्थल में भगवान शिव की पूर्ति के पास भस्म रखे। ये वस्तु भगवान शिव को अतिप्रिय है।

गंगा जल -

भगवान शंकर की जटाओं में स्थान पाने वाली गंगा को अत्यंत पवित्र माना जाता है। घर के रसोई घर में गंगा जल रखने से व्यापार में व्रद्धि और कार्यो में सफलता मिलती है।

त्रिशूल -

 घर की बैठक में चांदी अथवा तांबे का त्रिशूल रखें। इस त्रिशूल के प्रभाव से घर पर नकारात्मक ऊर्जा और शक्तियों का असर नहीं होगा।

ताँबे का लोटा -

 घर के जिस स्थान पर सभी सदस्य सबसे अधिक समय बिताते हो वहां पर तांबे के लोटे में जल भरकर रखे। ऐसा करने से परिवार के सदस्यो में प्रेम और विश्वास बना रहता है।

नंदी -

 धन रखने के स्थान अथवा तिजोरी में चाँदी के नंदी रखे। इससे धन में व्रद्धि होगी।

नाग देव -

 घर के मुख्य द्वार के निकट तांबे के नाग देवता की मूर्ति रखने से रुके हुए कार्य बनने लगेंगे और प्रयासों में सफलता मिलेगी।


क्यों कुछ लोग बिना महेनत के भी धनवान होते है ,समुद्रशास्त्र के अनुसार -



प्रत्येक व्यक्ति के हथेली में बहुत सी रेखाये होती है। इन रेखाओं द्वारा कुछ चिन्ह बनते है ,जो व्यक्ति को भाग्यशाली होने का संकेत देते है। 
         हाथ की कुछ रेखाये  ऐसी होती है जो कुछ ही लोगों में पाई जाती है। कहा जाता है की जिस व्यक्ति के हाथ में ये रेखाय होती है उसे पिछले जन्म के अच्छे कर्मो द्वारा भगवान शिव और श्री विष्णु की कृपा प्राप्त होती है इस प्रकार के लोगो को प्रभु कृपा से कुछ भी प्राप्त करने के लिए जीवन में अधिक मेहनत नहीं करनी पड़ती ,उन्नति और सुख -सुविधा उनके कदम चूमेगी। 
           *समुद्रशास्त्र के अनुसार जिस व्यक्ति क़ी हथेली में त्रिशूल का चिन्ह बना हो उसे इसका कई गुना फल प्राप्त होता है। उसे सभीसुख -सुविधाओ की प्राप्ति होती है। 
 *जिस व्यक्ति की हथेली पर ह्रदय रेखा के सिरे पर गुरु पर्वत के समीप त्रिशूल का निसान हो वह समाज में गौरव और प्रतिभावान बनता है। 
*सूर्य रेखा पर त्रिशूल का निशान होने पर उच्च पद और सरकारी क्षेत्र की प्राप्ति होती है। त्रिशूल के चिन्ह के साथ अन्य रेखाएं होने पर परिणाम विपरीत होंगे। 
*समुद्रशास्त्र के अनुसार जिसकी हथेली की दस उंगलियो में भगवान विष्णु के प्रतीक चक्र का चिन्ह होतो वह चक्रवती होता है। ऐसे व्यक्ति को राजयोग की प्राप्ति होती है। परन्तु आज के समय में राजाओं का राज न होने पर उसका बड़ी भूमि पर आधिपत्य होता है। उसे सरकारी पद और धन -सम्पति मिलती है।
*हथेली में मछली का चिन्ह होना शुभ माना जाता है। यदि ये चिन्ह जीवन रेखा या भाग्य रेखा पर हो तो वह व्यक्ति भाग्यशाली होता है और यह चिन्ह दीर्घ आयु का भी प्रतीक होता है।
 *जिस व्यक्ति की हथेली में भाग्य रेखा ,शनि पर्वत ,गुरु पर्वत ,जीवन रेखा ,शुक्र पर्वत पर भगवान विष्णु और देवी लक्ष्मी का प्रतीक कमल हो तो बहुत शुभ माना जाता है। ऐसे व्यक्ति निर्धन परिवार में जन्म लेकर भी अपनी मेहनत के बल पर सभी शुख और मान -सम्मान को प्राप्त कर ही लेते है।
   भगवान सभी व्यक्ति की सभी मनोकामना को पूर्ण और कल्याण करें।


                                                                        

सदा भरी रहेगी पैसो से आपकी तिजोरी ,तिजोरी में रखे सावन के मंगलवार को खास वस्तु



सावन मास और साधना के बीच मन की एकाग्रता सर्वाधिक महत्वपूर्ण है जिसके बिना परम तत्व की प्राप्ति नहीं होती। व्यक्ति का मन बहुत ही चंचल और चलायमान होता है। जब व्यक्ति साधना चक्र में प्रवेश करता है तब मन विकराल बाधा के रूप में सामने आता है। मन को नियंत्रित करना आसान नहीं होता। व्यक्ति का मन ही मोक्ष और बंधक का मूल कारण होता है। अतः मन से ही मुक्ति और मन से ही बंधन का कारण है। 

         भगवान शंकर ने मन के कारक चंद्रमा को अपने मस्तक में धारण किया है जिससे साधक की साधना में कोई भी समस्या ना आये और वह आसानी से पूरी हो जाये। सावन में हम आपको यह बताने का प्रयास कर रहे है की शिव के मतंगेश्वर स्वरूप के बारे में तथा माँ शक्ति मातंगी के बारे में। माँ मातंगी महाविद्या के नवे स्थान पर है। माता मातंगी श्याम वर्ण और चंद्रमा को मस्तक पर धारण करती है। यह पूर्णतया वाग्देवी की ही पूर्ति है। माँ की चार भुजाएं चार वेद का रूप है। मतंग ऋषि की पुत्री थी माता मातंगी। मतंग ऋषि परम् शिव भक्त थे और माता ने शिव साधना कर शिव के मतंगेश्वर स्वरूप की प्राप्ति की -

       मंगलवार के दिन घर पर एक पारद शिवलिंग लाकर या शिव मंदिर जाकर शिव परिवार का पंचोपचार पूजन करें।  हो सके लाल कम्बल के आसन का प्रयोग करें। चमेली के तेल का प्रयोग दीपक जलाने में करें। गूगल की धूप दें एवं सिंदूर चढ़ाएं। गुड़ का भोग लगाएं। लाल कनेर का फूल अर्पित करें। शिवलिंग पर सिंदूर का तिलक करें। पूजा करने के बाद बायें हाथ में जायफल लेकर दाएं हाथ में इस मंत्र का रुद्राक्ष की माला से १०८ बार जप करें। 

                          मंत्र यह है -

      ॐ हीं क्लीं हूं मातंग्ये महासारस्वतप्रदाय मतंगेश्वर नमः शिवाय। 


      मंत्र जाप के बाद शिवलिंग की आरती करें तथा जायफर को घर की तिजोरी में स्थापित करें। इस उपाय द्वारा आपको सफलता और सुख -सम्रद्धि की प्राप्ति होगी और तिजोरी हमेशा पैसो से भरी रहेगी। जिससे आपके 
जीवन का कोई भी क्षेत्र खाली अथवा शेष नहीं रहेगा। 

    यह उपाय आपको पूर्ण श्रद्धा और विश्वास से करना चाहिए। और माँ मातंगी और मतंगेश्वर सभी प्रणियों का कल्याण करेगे। 




                                                                          

सोमवार, 25 जुलाई 2016

धन व्रद्धि व सुख -सम्रद्धि के लिए करे यह सरल उपाय







पीपल के वृक्ष की छाया में खड़े होकर लोहे के बर्तन में पानी ,शक्कर ,घी एवं दूध मिलाकर उसकी जड़ में डालने पर घर में लंबे समय तक सुख -सम्रद्धि रहती है। और लक्ष्मी  (धन ) का वास घर में हमेशा बना रहता है। 

रामायण की निम्न चौपाई से दरिद्रता दूर होकर धन में व्रद्धि होती है। 

अतिथि पूजन्य प्रिय प्रियतम पुरारि      कामद धन दारिद्र द्रारिके। 


                                                                 

शिव पुराण में वर्णित भोले नाथ की पूजा से कैसे बनेगे आप के सारे बिगड़े काम जानिए यह प्रमाणित उपाय





सोमवार का दिन शिव भगवान की पूजा का दिन माना जाता है। अगर किसी ने दिल से भगवान शिव की पूजा कर ली तो उसके सारे काम बन जयेगे। शिव का सबसे प्रिय महीना सावन हे. भोले की कृपा पाने का सबसे शुभ दिन सोमवार है और अगर ऎसे में अपने कर ली कुछ खास शिवलिंग की पूजा तो आप पर बरसेगी महादेव की कृपा


विपत्ति को नाश और मानसिक शांति के लिए ऎसे करे महादेव को खुश -


मिटटी का शिव लिंग घर लेकर आएं थाली या तांबे के पात्र में शिवलिंग की स्थापना करें धूप ,दीप ,नैवेध से शिवलिंग की पूजा करें और अखंड दीपक जलाएं ,पन्चामृत से शिवलिंग का अभिषेक करें।

फल फुल प्रसाद चढ़ाते हुए   ॐ नमः शिवाय   का मानसिक जाप करें। पूजा के बाद बेलपत्र ,पुष्प अवश्य अर्पित करे पूजा स्थल पर कुमकुम  से त्रिशूल की आकृति जरूर बनाए। इससे आ रही वाधाएं दूर होगी मानसिक शांति की प्राप्ति होती है।

गृहस्थ एवं दाम्पत्य सुख के लिए शिव की भक्ति -


संगमरमर का शिवलिंग घर लेकर आएं थाली या तांबे के पात्र में शिवलिंग की स्थापना करें  धूप ,दीप ,नैवेध से शिवलिंग की पूजा करें अखंड दीपक जलाए। पन्चामृत से शिवलिंग का अभिषेक करें।


शिक्षा में सफलता पाने के लिए शिव को प्रसन्न -


स्फटिक का शिवलिंग घर लेकर आए थाली या तांबे के पात्र में शिवलिंग की स्थापना करे। धुप ,दीप नैवेध से शिवलिंग की पूजा करें। अखंड ,दीप जलाएं ,पन्चामृत से शिवलिंग का अभिषेक करें। फल ,फूल ,प्रसाद चढ़ाते हुए       ओम नमः शिवाय      का मानसिक जाप करें। पूजा के बाद चंदन  पुष्प  अवश्य अर्पित करें। पूजा स्थल पर कुमकुम से त्रिपुंड की आकृति जरुर बनाए। शिक्षा में उन्नति होगी प्रतियोगी परीक्षाओं में समलता मिलेगी।





रविवार, 24 जुलाई 2016

जानिए महादेव को कैसे करें प्रसन्न की आप भी बन जाए कुबेर के तरह कोषाध्यक्ष


 सावन माह में दूध ,दही और गाय के दान से भगवान शंकर शीघ्र ही प्रसन्न होते है। इसीलिए अपने जीवन में सर्वत्र सफलता के लिए इन चीजों का दान अनिवार्य रुप से करना चाहिए। 


     महालक्ष्मी की कृपा पाने ,धन सम्रद्धि प्राप्त करने के लिए एक बहुत प्राचीन उपाय बताया गया है ,वह है रोज रात में शिवलिंग के पास दीपक लगाना। रात के समय जब धोर अंधेरा रहता है ,तब शिवलिंग के निकट दीपक का प्रकाश करने से महादेव अतिप्रसन्न होते है। मान्यता है की जो व्यक्ति रोज रात में किसी सिद्ध शिव मंदिर जाकर वहाँ शिवलिंग के पास दीपक जलाता है ,उसे सभी -देवतओं की कृपा प्राप्त होती है और उसे किसी भी चीज की कमी नहीं रहती इस उपाय को नियम से करने पर व्यक्ति की कुंडली के सभी ग्रह दोष दूर हो जाते है। उसका बुरा से बुरा समय भी टल जाता है। 

            इन उपाय के बारे में शास्त्रो में एक कथा बताई गई है -


   शास्त्रो के अनुसार प्राचीन काल में देवताओं के कोषाध्यक्ष कुबेर देव अपने पिछले जन्म में चोर थे। वे एक रात भगवान शिव के मंदिर में चोरी करने पहुंच गए रात की वजह से वहां काफी अंधेरा था अंधेरा था अंधेरे में उन्हें कुछ भी दिखाई नहीं दे रहा था तब उन्होंने चोरी करने के लिए एक दीपक जलाया। दीपक के प्रकाश में वह मन्दिर का सामान की चोरी क्र ही रहे थे कि हवा से दीपक बुझ गया उन्होंने पुनः दीपक जलाया लेकिन वह फिर हवा से बुझ गया यह प्रक्रिया कई बार हुई। रात के समय बार -बार दीपक जलाने से भगवान शंकर उनसे अति प्रसन्न हो गए।
कुबेर देव ने चोरी करते समय बार -बार दीपक जलाकर अनजाने में ही जो शिवजी की पूजा की थी इसके फलस्वरूप भगवान भोलेनाथ ने उन्हें अगले जन्म में देवताओ का कोषाध्यक्ष बना दिया। इसीलिए शास्त्रों के अनुसार जो भी व्यक्ति रात के समय शिव मंदिर में शिव लिग के निकट प्रकाश करता है। उसे प्रभु शंकर की विशेष कृपा प्राप्त हो जाती है।
 

इसलिए सभी मनुष्यो को जीवन में सभी तरह के संकट के निवारण शिवलिंग के निकट रात्रि में शुद्ध घी का दीपक जलाना चाहिए। अथवा सावन के माह में सोमवार के दिन तो पूरी रात्रि से प्रकाश अवश्य ही करना चाहिए।




जरूर जाने शास्त्रों के अनुसार शिव पूजन में ध्यान रखने योग्य आवश्यक बातें





भगवान शंकर बहुत ही जल्दी अपने भक्तो की सभी मनोकामनाएं पूरी करने वाले देवता माने गए है इसीलिए इन्हे देवो के देव महादेव कहा गया है। कहते है की जो व्यक्ति सावन में भगवान शिव की सच्चे मन से पूजा करता है भगवान शिव की सभी मानोकामना पूर्ण  होती है। सावन माह में सोमवार के सभी व्रत रखकर डमरू वाले बाबा की पूर्ण श्रद्धा से पूजन करने से सभी मनोकामना पूर्ण होती है। 

      हिन्दू धर्म शास्त्रों के अनुसार प्रातः प्रदोष काल यानी दिन -रात के मिलन की घडी में भगवान शिव की आरधना बहुत ही शुभ मानी गयी है। सावन में शिव पूजन से पहले हम सभी मनुष्यो को काले तिल जल में मिलाकर स्न्नान करना चाहिए। भगवान शिव की पूजा के साथ ही माता पार्वती ,गणेश जी ,कार्तिकेय और नंदी की पूजा अवश्य करें। 

 भगवान शिव की आराधना प्रातः काल पूर्व दिशा की ओर मुंह करके करनी चाहिए। 

शाम के समय में शिव जी की आराधना पश्चिम दिशा की ओर मुंह करके करनी चाहिए। 

लेकिन अगर आप रात के समय प्रभु की उपासना करते है तो आपका मुंह उत्तर दिशा की ओर होना चाहिए। 

 पूजा करते समय कोई भी शिव मंत्र का जाप अवश्य ही करते रहे। भगवान शिव की उपासना के बाद उनकी कपूर से आराधना अवश्य करनी चाहिए। 

जो लोग काल सर्प दोष से पीड़ित है उन्हें सावन में काल सर्प दोष की पूजा अथवा रुद्राभिषेक करना चाहिए। उन्हें नाग पंचमी के दिन चांदी या तांबे का नाग -नागिन बनवाकर उसकी पूजा करनी चाहिए ,और अपने पितरों को याद करते हुये नाग देवता का बहते पानी में श्रद्धा पूर्वक विसर्जन करना चाहिए। प्रतिदिन शिव मंदिर जाकर शिवलिंग पर दूध और काले तिल से अभिषेक करें इससे भगवान शिव की कृपा से रोग दूर होते है। 
             

           इन उपायो को अपना कर आपअपने जीवन में कुछ बदलवो को अवश्य ही महसूस करेगे।







                                                                       

शुक्रवार, 22 जुलाई 2016

हर काम में सफलता पाने का सरल और सिद्ध मंत्र जिसका वर्णन पुराणों में किया गया है जो आपको सफलता की हर ऊंचाई पर पहुंचाएगा



गोस्वामी तुलसीदास ने रामचरितमानस में लिखा है कि जिस तरह बड़े जलाशय की मछलियां हमेशा सुखी रहती है। उसी तरह प्रभु के शरण में गए व्यक्ति के सामने कोई भी वाधा नही आती है। जो भक्त अपने कर्म पर पूरा ध्यान लगाकर भगवान पर भरोसा करता है। ईष्वर भी पग -पग पर उसकी मदद करते है
हमारे शास्त्रो में जीवन की वाधाएं दूर करने और कामयाबी  के कुछ आसान मंत्र बताए गए है। श्री राम रक्षा स्तोत का एक मंत्र हर तरह की सफलता पाने में बताया गया है।
                               मंत्र इस तरह है -


     रामाय रामभद्राय राम चंद्राय वेधसे
   
   रघुनाथाय नाकाम सीतायाः पतये नमः

        एक अन्य मंत्र -

    राजिवनयन धरे धनु सायक।  भगत विपति भंजन सुखदायक।

  सूर्योदय से पूर्व उठकर स्न्नान आदि करके इस मंत्र को ७ मालाएं (१०८ दाने की )जपना चाहिए हर माला की समाप्ति पर धूप गूगल की धूनी में आहुति देनी चाहिए सातो मालाएं पूरी हो जाने पर उस भस्म को सावधानी से उठाकर रख देना चाहिए। इस भस्म को लगाने से बड़ी से बड़ी बाधाएं दूर होती है। और हर काम में सफलता मिलती है।







सावन के महीने में कौन सा मन्त्र जपने से बढ़ेगी आप की आमदनी जानिए यह अद्भुत उपाय



आमदनी बढ़ाने के लिए सावन के महीने में किसी भी दिन घर में पारद शिवलिंग की स्थापना करें और उसकी यथा विधि विधान से पूजन  करें। इस दौरन इस मंत्र का १०८ बार जाप करें - 

            ऐ हीं श्रीं ॐ नमः शिवायः श्रीं हीं ऐ

प्रत्येक मंत्र के साथ विल्वपत्र पारद शिव लिंग पर चढ़ाए विल्वपत्र के तीनों दलों पर लाल चंदन से क्रमशः ऐ हीं श्रीं लिखें अंतिम १०८  विल्वपत्र को शिवलिंग पर चढ़ाने के बाद निकाल लें और इसे घर के पूजन स्थान पर रखकर प्रतिदिन पूजा करें आपकी आमदनी बढ़ जायेगी।

गुरुवार, 21 जुलाई 2016

सावन के महीने में क्या करने से भगवान शिव और माता पर्वती की असीम कृपाबनी रहती है। जानिए यह अद्भुत उपाय






सावन में भगवान नीलकंठ का रुद्राभिषेक बहुत ही पूण्य दायक माना गया है। जो जातक सावन में भगवान भोले नाथ का पूर्ण विधि विधान से बन्धु बांधवों के साथ रूद्राभिषेक करते है। उनके ऊपर भगवान शिव और माता पर्वती की असीम कृपा बनी रहती है। जातक के परिवार के सभी सदस्य प्रेम पूर्वक ,निरोगी रहते हुए दीर्घ्र आयु को प्राप्त होते है। उन्हें सभी भौतिक सुखो की प्राप्ति होती है।

भगवान शंकर बहुत ही जल्दी अपने भक्तो की सभी मनोकमनाएं पूरी करने वाले देवता माने गए है इस लिए इन्हे देवो में देव महादेव खा गया है। सावन माह में भगवान भोले नाथ की पूजा अर्चना का विशेष ही महत्व है ,सावन में भगवान शिव की सच्चे मन से पूजा करने से जातक की सभी सिद्धियां प्राप्त होती है उसकी सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती है।

किन देवी -देवताओ की पूजा -आराधना में किन -किन फूलों से की जाती है जानिए यह चमत्कारी उपाय




भगवान केवल भाव के ही भूखे होते है। वे यह नहीं देखते है। की भक्त ने उन्हें क्या अर्पित किया है। या कैसा अर्पित किया है। इसके बावजूद भक्त का प्रायस यही रहता है। की प्रभु को हर तरह से प्रसन्न किया जाए।
इसके लिए यह जानकारी होनी चाहिए की किन देवी -देवताओ की पूजा =आराधना में किन -किन फूलों को अर्पित किया जाना चाहिए।


श्री गणेश  - गणेश जी को तुलसी छोड़कर हर तरह के फूल पसंद है। खास बात यह है की गणपति को दूब अधिक प्रिय है दूब की फुनगी में ३ या ५ पत्तियां हो तो ज्यादा अच्छा रहता है।

भगवान शिव - भगवान शंकर को सभी सुगंधित फूल पसंद है। चमेली ,श्रेत कमल ,शमी ,मौलसिरी ,पाटला ,नागचंपा ,धतूरा ,शमी ,खस ,गूलर ,बेलपत्र ,केसर उन्हें खास प्रिय है।

विष्णु - भगवान शिव को तुलसी बहुत पसंद है काली तुलसी और गौरी तुलसी उन्हें दोनों ही पसंद है कमल ,बेला ,चमेली ,गुमा ,खैर शमी ,चंपा मालती ,कुंद अदि फूल विष्णु को प्रिय है।

हनुमान - हनुमान जी को लाल फूल चढ़ाना ज्यादा अच्छा रहता है। वैसे उन्हें कोई भी सुगंधित फूल चढ़ाया जा सकता है।

सूर्य - भगवान सूर्य को आक फूल सबसे ज्यादा प्रिय है शास्त्रों में कहा  गया है की अगर सूर्य को एक आक का फूल अर्पण कर दिया जाए तो सोने की १० अशर्फियां चढ़ाने का फल मिलता है।

भगवती - आम तौर पर भगवान शंकर को जो भी फूल पसंद है देवी पार्वती को वे सभी फूल चढ़ाए जा सकते है। सामान्यत  सभी लाल फूल और सुगंधित सभी सफेद फूल भगवती को विशेष प्रिय है बेला ,चमेली ,केसर ,श्रेत् कमल ,पलाश ,चंपा ,कनेर अपराजित आदि फूलों से भी देवी की पूजा की जाती है।

लक्ष्मी जी को कमल कमल का फूल का चढ़ाने का विशेष महत्त्व है।

जानिए दीपक जलाने का सही व सरल नियम व लाभ



किसी भी पूजन में दीपक प्रज्वलित करने का विधान होता है। आइये जाने दीपक को जलाने के कुछ नियम -

किसी भी शुद्ध मास में नियमित तौर से इसको प्रारंभ किया जा सकता है। या सावन अथवा कभी भी किसी शुद्ध मुहूर्त से इसको प्रारंभ कर सकते है।

१ -अगर हमे अर्थिक लाभ प्राप्त करना हो तो नियम पूर्वक अपने घर के मंदिर में अथवा किसी शिव मंदिर में शुद्ध गाय के घी का दीपक जलाना चाहिए।

२ -अगर हमे शत्रुओ से पीड़ा हो तो सरसो के तेल का दीपक भैरव जी के सामने जलाना चाहिए।

३-शनि गृह की प्रसन्नता के लिए तिल के तेल का दीपक जलाना चाहिए।

४ -जीवन साथी की आयु वृद्धि के लिए महुए के तेल का दीपक जलाना चाहिए।

५-राहु केतु गृह के लिए अलसी के तेल का दीपक जलाना चाहिए।


किसी भी देवी या देवता की पूजा में शुद्ध गाय का घी या तिल का दीपक आवशयक रूप से जलाना चाहिए।

भगवान गणेश की कृपा प्राप्ति के लिए तीन बत्तियों वाला घी का दीपक जलाना चाहिए।

भैरव साधना के लिए चौमुखी सरसों के तेल का दीपक जलाना चाहिए।

मुकदमा जीतने के लिए पांच मुखी दीपक जलाना चाहिए।

भगवान कार्तिकेय की पसन्नता के लिए भी पांच मुखी दीपक जलाकर पूजा करने से सभी मनोकमना पूर्ण होती है।

जानिए सावन के महीने के पांच चमत्कारी उपाय जिससे चमकेगी आप की किस्मत



देवो के देव महादेव शिव की सावन में जिस भक्त ने उनकी पूजा सच्चे मन से की और उन्हें मना लिया उसकी झोलियां खुसियो से भर जाती है। भोले नाथ अपने किसी भी भक्त से बहुत जल्दी ही प्रसन्न हो जाते है। और अपने भक्तो को मन चाहा वरदान देते है। वो अपने भक्तो की मनोकामनाए पूरी करते है। भक्तो को हर दुःख तकलीफ से दूर रखते है। तो आइए आपको बताते है। शिव को मनाने के सावन के महीने के चमत्कारी उपाय -

१- सावन के महीने में भगवान शिव को बेल पत्र चढ़ाए उन्हें बेल पात्रा बहुत अधिक प्रिया है।

२- सावन के महीने में भगवान शिव को सफेद रंग के फूल आर्पित करें उन्हें सफेद रंग के कपड़े ,और कमल के फूल चढ़ाने मनचाहा फल मिलता है।

३ -सावन के महीने में उन्हें जौ अर्पित करें इससे घर में सुख व शांति का वास होता है।

४-शिव लिग पर दूध चढ़ाए इससे मन चाहे वर की प्राप्ति होती है। विवाह में आ रही अड़चने दूर होगी।

५ -शिव लिग पर प्रतिदिन शहद चढ़ाए इससे दाम्पत्य जीवन सुखी होती है। और कभी तकरार नहीं होती है। 




बुधवार, 20 जुलाई 2016

सावन के महीने में शिव जी को कैसे प्रसन्न करने से कभी अन्न की कमी नहीं होगी पढ़े यह सरल उपाय


भगवान शिव को बहुत जल्दी प्रसन्न करने का समय सावन का महीना होता है। सावन के महीने में भगवान शिव पर जूही के फूल चढ़ाने से शिव जी जल्दी प्रसन्न हो जाते है।जो जातक शिव जी के ऊपर जूही के फूल चड़ता है। उसके घर में कभी अन्न की कमी नहीं होती है।

सावन के महीने में कौन सा फूल चढ़ाने से आप को सुख -सम्पति मिलेगी जानिए यह चमत्कारी उपाय



सावन के महीने में भगवान शिव पर हर सिंगर के फूलों से पूजन करने पर सुख -सम्पति में वृद्धि होती है।  सावन का महीना भगवान शिव को प्रसन्न करने का सही समय है।

सावन में धन प्राप्ति का बहुत ही सरल उपाय



सावन में किसी नदी या तालाब जाकर आटे की गोलियों मछलियों को खिलाए जब तक यह काम करें मन ही मन में भगवान शिव का ध्यान करते रहे। यह धन प्राप्ति का बहुत ही सरल उपाय है।

मंगलवार, 19 जुलाई 2016

शिव पुराण के अनुसार कैसे चढ़ाएं बेलपत्र पूरी होगी आपकी सभी मनोकामना जानिए यह अचूक उपाय





सावन में रोज २१ विल्वपत्रों पर चंदन से ॐ नमः शिवाय लिखकर शिवलिंग पर चढ़ाएं। इससे आपकी सभी मनोकामना पूरी होती है।

            

सोमवार, 18 जुलाई 2016

क्या करें की आप पर माँ लक्ष्मी की कृपा बनी रहे जानिए यह दुर्लभ जानकारी जो आप के लिए है


पूर्णिमा के दिन माँ लक्ष्मी के चित्र पर ११ कौड़ियां चढ़ाकर उन पर हल्दी से तिलक करें। अगले दिन सुबह इन कौड़ियो को लाल कपड़े में बांध कर अपनी तिजोरी में रखें। इस उपाय से घर में धन की कोई भी कमी नहीं होती है। इसके पश्चात प्रत्येक पूर्णिमा के दिन इन कोड़ियो को अपनी तिजोरी से निकाल कर माता के सम्मुख रखकर उन पर पुनः हल्दी से तिलक करें फिर अगले दिन उन्हें लाल कपड़े में बांधकर अपनी तिजोरी में रखे। आप पर माँ लक्ष्मी की कृपा बनी रहेगी। 

                                                                       

पूर्णिमा के दिन कौन सा उपाय करें की आपकी सभी आर्थिक समस्यायों का निराकरण होगा




जिस व्यक्ति को जीवन में धन सम्बन्धी समस्याओं का सामना करना पड़ता है उन्हें पूर्णिमा के दिन चंद्रोदय के समय चन्द्रमा को कच्चे दूध में चीनी और चावल मिलाकर ''ॐ ऎ क्लीं सोमाय नमः। ''मन्त्र का जाप करते हुए अर्घ्य देना चाहिए। इससे धीरे -धीरे उसकी आर्थिक समस्यायों का निराकरण होता है।                                                                   

शास्त्रों के अनुसार कैसे करें अपने जीवन को सफल बनाने का सरल व सिद्ध उपाय जो दिलाएंगे धन और यश



सफल दाम्पत्य जीवन के लिए प्रत्येक पूर्णिमा को पति पत्नी में कोई भी चन्द्रमा को दूध का अर्घ्य अवश्य हीं दें (दोनों एक साथ भी दें सकते है ),इससे दाम्पत्य जीवन में मधुरता बनी रहती है।

रविवार, 17 जुलाई 2016

किस की पूजा के द्वारा प्राप्त होगी सुख व सफलता जानिए सिद्ध उपाय

   


जीवन में धन लाभ और कार्यो में मनवाँछित सफलता प्राप्त करने के लिए घर में बजरंग बली की फोटो जिसमे वह उड़ते हुए नजर आ रहे हो रखकर उसकी विधिपूर्वक पूजा करनी चाहिए।

घर की कुछ चीजों द्वारा कैसे कर सकते है आप आर्थिक पक्ष मजबूत जानिए यह सफल और सिद्ध उपाय




शुक्रवार को सवा सौ ग्राम साबुत बासमती चावल और सवा सौ ग्राम मिश्री को एक सफेद रुमाल में बांध कर माँ लक्ष्मी से अपनी गलतियों की क्षमा मांगते हुए उनसे अपने घर में स्थायी रुप से रहने की प्रार्थना करते हुए उसे नदी के बहते हुए जल में प्रवाहित कर दें। धीरे -धीरे आर्थिक पक्ष मजबूत हो जयेगा।



मात्र कुछ पैसों की चीज कैसे दिलयेगी आप को धन -समृद्धि



सफेद अकाव की जड़ सफेद कपड़े में बांधकर घर में रखने से धन -समृद्धि बढ़ती है।

लक्ष्मी जी के साथ किसकी पूजा से आती है स्वमं लक्ष्मी जी जानिए यह पुराणों में वर्णित उपाय


 जिस घर में पूजा स्थल में देवी लक्ष्मी के साथ शंख की स्थापना भी की जाती है और नियमित इसकी पूजा करनी चाहिए ,वहां देवी लक्ष्मी स्वयं निवास करती है। ऐसे घर में धन संबंधी परेशानी कभी नहीं आती है।                                                              

जानिए हरा चारा के द्वारा कैसे प्राप्त होगी सुख -सम्रद्धि

 



सावन में रोज नंदी (बैल )को हरा चारा खिलाएं। इससे जीवन में सुख -समृद्धि आएगी और मन प्रसन्न रहेगा।

सावन में धन और सुख प्राप्त करने के लिए करें यह टोटका




अगर आपके घर में किसी भी प्रकार की परेशानी हो तो सावन में रोज सुबह घर में गोमूत्र का छिड़काव करें तथा गुग्गल का धूप दे। ऐसा करने से आपके घर में धन और सुख की प्राप्ति होगी।            

शनिवार, 16 जुलाई 2016

११ गुरुवार को करें यह उपाय मिलेगा आप को धन सम्पति व ऐश्वर्य



गुरुवार को जल कुंभी घर लाये और उसे पीले कपड़े में बांधकर कहीं पर भी लटका दे परन्तु इसे बार -बार छूना नहीं है। प्रत्येक गुरुवार इसे नयी जलकुंभी से बदल दें ऐसा ११ गुरुवार तक करना है। इससे आप को धन -सम्पति व ऐश्वर्य मिलेगा।





चांदी की कौन सी चीज धारण करने से आप के पास सदा रहेगी सुख -सम्रद्धि जरूर पढ़े यह उपाय




चांदी की जंजीर  चेन गले में धारण करें आप के पास सदा रहेगी सुख -समृद्धि

घर की रसोई में क्या टांगने से आप के घर कभी नहीं होगी धन की कमी जाने यह अद्भुत उपाय



घर की रसोई में किसी भी दिन काली लुम्बी लाकर टांग दें आप को धन की कभी कमी नहीं रहेगी।

सोमवार को क्या करने से आप की पूरी होगी सभी मनोकामना और आप हो जाएंगे मालामाल जानें यह सरल व चमत्कारी उपाय



हर सोमवार के दिन सुबह जल्दी उठे। उठने के बाद नित्य कार्यो से निवृत्त होकर पवित्र हो जाए। इसके बाद आप के घर के आस पास किसी भी शिव मंदिर जाएं और वहां शिवलिंग पर कच्चा दूध चढ़ाए यदि ऐसा हर सोमवार को किया जाये तो आप की सभी मनोकमना पूर्ण होगी। और आप हो जाएंगे मालामाल यह बहुत ही सरल चमत्कारी उपाय है।

शनिवार को क्या करने से प्राप्त होने लगेगा आप को धन जाने यह प्रमणित उपाय




शनिवार सायं काल आरम्भ करते हुये लगातार ७ शनिवार तक पीपल के पेड़ के नीचे जड़ में थोड़ा सा दही एवं लाल सिंदूर डालकर पीछे मुड़कर न देखे और पुनः घर लौट आये। ऐसा ७ शनिवार को करने से होगी धन की प्राप्ति।

मंगलवार को हनुमान जी को क्या चढ़ाने से आप को प्राप्त होगा सुख -समृद्धि व वैभव जाने यह सरल उपाय




मंगलवार को हनुमान जी को लाल या पीले फूल जैसे कमल ,गुलाब ,गेंदा या सूर्यमुखी चढ़ाने से सारे वैभव व सुख प्राप्त होते है।

पीले वस्त्र में क्या लपेटकर रखने से आप के घर में सदा बनी रहेगी सुख एवं समृद्धि




शुक्ल पक्ष के प्रथम सोमवार या बुधवार को चमकीले पीले वस्त्र में शुद्ध कस्तूरी लपेटकर अपने धन रखने के स्थान पर रखें ,घर में सुख -समृद्धि आएगी।

कौन सा यंत्र भोजपत्र पर बनाए जिससे आप को विविध ऐश्वर्य के साथ लक्ष्मी प्राप्त हो जानिए यह अद्भुत उपाय



अपने घर के ईशान कोण में श्री यंत्र ताम्रपत्र, रजत पत्र या भोजपत्र पर बनायें। प्राण प्रतिष्ठा करके नित्य पूजा करने से विविध ऐश्वर्य के साथ लक्ष्मी प्राप्त होती है।

सुबह उठकर क्या करने से माँ लक्ष्मी की कृपा आप पर सदा बनी रहेगी। जानिए यह चमत्कारी उपाय



जिस घर में लोग सूर्योदय से पहले उठ जाते है। फिर पूजा करके ही नाश्ता करते हो उस घर पर माँ लक्ष्मी की कृपा हमेशा बनी रहती है।

पांच शुक्रवार करें यह उपाय दूर होगी आप की निर्धनताऔर आप का घर धन से भर जायेगा


शुक्रवार को सुबह जल्दी उठकर नित्य कार्य से निवृत्त होने के बाद श्री गणेश धन की देवी महालक्ष्मी का पूजन करें। पूजन में एक नारियल रखें। पूजा के बाद नारियल को तिजोरी में रख दें। रात के समय इस नारियल को निकालकर किसी गणेश मंदिर में अर्पित कर दें। साथ ही श्री गणेश से निर्धनता दूर करने की प्रार्थना करें। ऐसा कम से कम पांच शुक्रवार करें। तो आप की निर्धनता दूर हो जाएगी। और आप का घर धन से भर जायेगा।

कौन सा उपाय करने से दूर होगी दरिद्रता और मिलेगी सुख -समृद्धि पढ़े यह सरल उपाय





गुड़ का दान करने से आपके पूर्वजो का आशीर्वाद प्राप्त होगा और घर में कलह और दरिद्रता का नाश होता है। और इससे आपको धन और सुख की प्राप्ति होगी।



किस का दान करने से कभी नहीं होती है। पैसों की कमी और मिलता है मनोवांछित फल






   अनाज का दान -अन्नदान में गेहू ,चावल का दान करना चाहिए। यह दान संकल्प सहित करने पर मनोवांछित फल देता है। और कभी नहीं रहती है पैसों की कमी।

चावल का कौन सा उपाय करने से होगा धन लाभ जानें यह अद्भुत उपाय



देव पूजा में अक्षत यानी चावल का चढ़ावा बहुत ही शुभ माना जाता है। शिव पूजा में भी महादेव या शिवलिंग के ऊपर चावल जो टूटे न हो चढ़ाने से माँ लक्ष्मी की कृपा यानी धन लाभ होता है।

यह उपाय जरुर पढ़े कि क्या करने से प्राप्त होगा आप को मान -सम्मान एवं ऐश्वर प्राप्ति



नारियल का वृक्ष घर में लगाना फलदायी है। जिस घर में नारियल का वृक्ष होता है। वहां रहने वाले के मान -सम्मान में वृद्धि होती है। और प्राप्त होता है ऐश्वर।

जानिए यह अद्भुत उपाय जिससे से दूर होगे आप के सभी संकट और होगी धन की प्राप्ति




कच्ची घानी के तेल के दीपक में लौंग डालकर हनुमान जी की आरती करें। इससे आप के सभी संकट दूर होगे और धन भी प्राप्त होगा।